बदलता छत्तीसगढ़।रायगढ़।। जिस पर किया भरोसा उसी ने इज्जत लूटने की कोशिश की। मामला भुपदेवपुर थाना क्षेत्र का है। मुंह बोले मौसा ने सुनसान अंधेरी रात में एक महिला से दुष्कर्म की कोशिश की।महिला ने इंकार किया तो पत्थर से सिर कुचलकर मौके से फरार हो गया। मामला सामने आने के बाद थाना प्रभारी सीताराम ध्रुव एन्ड टीम ने 48 घण्टो के भीतर पूरे मामले का पर्दाफाश कर आरोपी को गिरफ्तार करने में कामयाबी पाई है।।
पुलिस से मिली जानकारी अनुसार किरोड़ीमलनगर की महिला 21 वर्ष खरसिया के एक होटल में अपने पति के साथ तंदूरी बनाने का कार्य करती थी। दो दिन पहले पति किसी कार्य से रायगढ गया था जो लौट नही पाया था। इसलिए पति की तलाश करने बगल में ही रहने वाले मुंह बोले मौसा लल्ली उर्फ विजय मेहरा और उसकी पत्नी को साथ लेकर वे रायगढ़ गए। काफी खोजबीन करने के बाद भी जब पति मुकेश नही मिला तो कथित मौसा मौसी के साथ रात 7 बजे टिटलागढ़ पैसेंजर से वे वापस खरसिया लौटने लगे। इस बीच लल्ली उर्फ विजय की पत्नी ट्रेन चढ़ नही पाई। लिहाजा महिला अपने मौसा के साथ ही ट्रेन से लौट रही थी। बताया जाता है कि टिटलागढ़ पैसेंजर भुपदेवपुर रेलवे स्टेशन के पहले कोंडताराई रेलवे क्रॉसिंग पर रुक गई। जिसे स्टेशन समझकर दोनों उतर गए।। इधर ट्रेन के जाने के बाद जब गलत जगह उतरने का अहसास हुआ तो उक्त दोनों पटरी किनारे पैदल ही स्टेशन की ओर जाने लगे।।
महिला का सिर कुचला, फरार
अंधेरी रात और सुनसान जगह देखने के बाद मौसा की नीयत बदल गई,उसने अपनी मुंह बोली भतीजी के साथ जबरन बलात्कार करने की कोशिश की। मौसा का यह रूप देख महिला अवाक रह गई।उसने खुद को बचाने की कोशिश की। इस बीच मौसा द्वारा महिला से मारपीट करते हुए उसके सिर को पत्थरो से कुचल दिया गया। बाद में महिला को मारा हुआ संमझ वह मौके से फरार हो गया।
48 घण्टे के भीतर आरोपी गिरफ्तार
वारदात को अंजाम देने के बाद आरोपी अपने घर मध्यप्रदेश जाने के लिए ट्रेन से रवाना हो गया था। इधर दशहरा की रात जब मामले की जानकारी मिली तो पुलिस एक्शन में आ गई। तहकीकात शुरू की गई।इस बीच आरोपी के फरार होने की सूचना मिली। लिहाजा इंस्पेक्टर सीताराम ध्रुव एन्ड टीम ने सक्ति रेलवे स्टेशन पर फिल्मी स्टाइल में ट्रेन को चारों तरफ से घेराबंदी कर आरोपी को गिरफ्तार करने में कामयाबी पाई। 48 घण्टे के भीतर मामले का पर्दाफाश करने में थाना प्रभारी ध्रुव के साथ प्रधान आरक्षक विपिन पटेल,सुरेन्द्र ठाकुर,मुरली मनोहर पटेल,केके वारेन ,बोधराम सिदार,एल मानसर, खलखो और महिला आरक्षक गौरी सिदार की सरहानीय भूमिका थी।।